घाटी में अब रौनक लौट रही है। यहां 35 साल बाद एक मंदिर के दोबारा खुलने पर क्या मुस्लिम, क्या कश्मीरी पंडित सबके चेहरे पर मुस्कान थी। एक कश्मीरी पंडित महिला का कहना है कि यह देखकर बहुत अच्छा लग रहा है।
महाराष्ट्र के पूर्व सीएम और शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे सीएए के मुद्दे पर कहा कि CAA सिर्फ एक चुनावी हथकंडा है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाया कि भाजपा धर्मों के बीच भेदभाव पैदा करना चाहती है।
जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा कश्मीरी पंडितों द्वारा आयोजित महानवमी के कार्यक्रम में पहुंचे। यहां उन्होंने पूजा अर्चना की और सभा को संबोधित भी किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि घाटी में आतंकवाद अपनी आखिरी सांसे ले रहा है।
रिटायर्ड न्यायाधीश नीलकंठ गंजू मामले की जांच की फाइल एक बार फिर खोली जा रही है। इस फैसले का कश्मीरी पंडितों ने स्वागत किया है और राज्य की जांच एजेंसी ने लोगों से अपील कर मदद मांगी है।
ख्वाज़ाबाग में 40.22 करोड़ रुपये की लागत से नई विस्थापित कॉलोनी बनाई जा रही है। करीब 160 फ्लैट महीने के अंत तक उद्घाटन के लिए तैयार हो जाएंगे। कुल 320 फ्लैट बनाए जाने हैं। बाकी के फ्लैट का निर्माण दो-तीन महीने के भीतर पूरा हो जाएगा।
राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दो पन्नों की एक चिट्ठी लिखी है. इस चिट्ठी में राहुल गांधी ने कश्मीरी पंडितों की समस्याओं के बारे में बताया है. उन्होंने लिखा है कि जम्मू-कश्मीर में टारगेट कीलिंग के बीच कश्मीरी पंडितों को घाटी में काम करने के लिए मजबूर किया जा रहा है.
20 जनवरी की रात को बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हुए और ये वही दौर था जब पड़े पैमाने पर कश्मीरी पंडितों का पलायन कश्मीर से हुआ, जो अगले कुछ सालों तक चलता रहा। 19 जनवरी 1990 को कश्मीरी पंडितों ने वहां से पलायन करना शुरू कर दिया और भारत के अलग-अलग हिस्सों में अपनी सहूलियत के हिसाब से चले गए।
लोकसभा सदस्य फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि सरकार यह कहती थी कि आर्टिकल 370 खत्म होगा, तो आतंकवाद खत्म हो जाएगा, लेकिन इसे खत्म हुए कितने साल हो गए, क्या आतंकवाद खत्म हुआ?
Rehabilitation plan ready for Kashmiri Pandits: जिस आतंक के डर से कश्मीरी पंडितों का अपना घर उजड़ गया, जिस आतंक की दहशत से कश्मीरी पंडितों को पलायन करना पड़ा और जिस आतंक की गुजरी यादों का खौफ आज भी कश्मीरी पंडितों का खून खौला देता है, अब दशकों से कश्मीर में चले आ रहे उस आतंक और आतंकियों का अंत होने वाला है।
जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री का कश्मीरी पंडितों को लेकर एक बयान सामने आया है। उन्होंने कहा कि सरकार कश्मीरी पंडितों को सुरक्षा देने में नाकाम हो गई है।
Jammu Kashmir: कई कश्मीरी प्रवासी पंडित संगठनों ने घाटी में आतंकवादियों द्वारा टारगेट किलिंग किए जाने पर मंगलवार को चिंता व्यक्त की और जमीनी स्थिति का आकलन करने के लिए एक तथ्यान्वेषण प्रतिनिधिमंडल भेजे जाने का प्रस्ताव रखा।
Jammu Kashmir: दक्षिण कश्मीर के शोपियां जिले में आतंकवादियों द्वारा एक कश्मीरी पंडित की हत्या के विरोध में जगह-जगह हुए विरोध प्रदर्शनों के दौरान आम आदमी पार्टी (AAP) के अनेक कार्यकर्ताओं को रविवार को हिरासत में लिया गया।
Congress Attacks BJP: कांग्रेस ने जम्मू-कश्मीर में एक कश्मीरी पंडित की हत्या को लेकर शनिवार को आरोप लगाया कि नरेंद्र मोदी सरकार कश्मीरी पंडितों को सुरक्षा देने में विफल रही है।
Jammu Kashmir: घाटी से स्थानांतरित करने की मांग कर रहे सैकड़ों कश्मीरी पंडित कर्मचारियों ने घाटी में अपने समुदाय के सदस्यों की टार्गेट किलिंग के विरोध में शनिवार को जम्मू-अखनूर मार्ग अवरूद्ध कर दिया।
Target Killing: केपीएसएस ने बयान में कहा है, "कश्मीर घाटी में कोई भी कश्मीरी पंडित सुरक्षित नहीं है। कश्मीरी पंडितों के लिए, केवल एक ही विकल्प बचा है कि वह कश्मीर छोड़ दें या धार्मिक कट्टरपंथियों द्वारा मारे जाएं, जिन्हें स्थानीय आबादी का समर्थन प्राप्त है।"
Kashmiri Pandit killed: कश्मीर में टारगेट किलिंग कब रुकेगी? शोपियां में दो कश्मीरी पंडित भाइयों से आतंकियों ने नाम पूछा और फिर ताबड़तोड़ गोलियां बरसा दीं. सुनील भट्ट की मौत हो गई. दूसरा भाई अस्पताल में जिंदगी और मौत की लड़ाई लड़ रहा है. कश्मीर पंडित खौफ में हैं.
J&K News: जम्मू-कश्मीर पुलिस के अनुसार, आतंकियों ने दोनों भाइयों पर सेब के बगीचे में गोली मारी। घायल युवक को अस्पताल में भर्ती किया गया है। सुरक्षाबलों ने इलाके को चारों तरफ से घेर लिया गया है और छानबीन जारी है।
Jammu Kashmir: 5 अगस्त, 2019 से घाटी से पलायन करने वाले कश्मीरी पंडितों की संख्या पर अपने जवाब में मंत्री ने कहा कि रिकॉर्ड के अनुसार, उक्त अवधि के दौरान किसी भी कश्मीरी पंडित ने कथित तौर पर घाटी से पलायन नहीं किया है।
Kashmir News: बुधवार को राज्यसभा में केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने एक सवाल का जवाब देते हुए कहा कि धारा 370 के हटने के बाद घाटी में अब तक 5,502 कश्मीरी पंडितों जम्मू-कश्मीर के विभिन्न विभागों में नौकरी दी गई है।
Jammu Kashmir: कश्मीर में प्नधानमंत्री पैकेज के तहत भर्ती किये गए कर्मचारी विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं और फिर से बसाए जाने की मांग कर रहे हैं।
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