समुदाय के छह विभिन्न संस्थाओं से संबद्ध पाटीदार नेताओं के साथ बैठक के बाद गुजरात के ऊर्जा मंत्री सौरभ पटेल ने कहा कि सरकार की प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि पाटीदार नेता अपना अनशन खत्म कर लें।
बामनिया ने हार्दिक पटेल के कुछ मैसेज दिखाकर दावा किया उन्हें कांग्रेस के खिलाफ बोलने से रोका गया। हार्दिक इन मैसेज में दिनेश बामनिया से कह रहे हैं कि कल चुनाव है इसलिये वो प्रेस कॉंफ्रेंस न करें। पाटीदार आरक्षण पर राहुल भी कोई साफ जवाब नहीं दे पाए, ब
पाटीदार समुदाय और भाजपा, दोनों के गढ़ रहे मेहसाना में मेडिकल की दुकान चलाने वाले दीपक पटेल का कहना है कि समुदाय के गरीब परिवारों को आरक्षण की जरूरत है। यह बताने पर कि आरक्षण के लिए संविधान में ऊपरी सीमा 50 फीसदी तय है, ऐसे में कोई सरकार कैसे पाटीदारो
इस मुद्दे पर आरक्षण के अगुआ हार्दिक पटेल ने विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को समर्थन दिया। अपने पहले के चुनावी भाषणों में प्रधानमंत्री ने जनता से कहा था कि वह झूठे वादों के फेर में ना आएं। महिसागर जिले के लुनावाड़ा में एक रैली को संबोधित करते हुए मोदी न
इन संस्थाओं ने हार्दिक से यह कहकर किनारा कर लिया कि हार्दिक का आंदोलन अब सामाजिक न रहते हुए राजनीतिक और निजी बन गया है। यहां तक कि इशारों ही इशारों में उन्होंने यह भी साफ कर दिया कि कुछ समय के लिए भाजपा से नाराजगी जरूर थी लेकिन अब सब ठीक है। अब यह
'कई राज्यों में आरक्षण की सीमा को 49 फीसदी से अधिक किए जाने पर अदालत ने रोक लगाई है। ऐसे में किसी भी तरह की रोक से बचने के लिए कांग्रेस सरकार बनते ही विधेयक लाएगी। उन्होंने कहा कि आरक्षण की 49 फीसदी की सीमा को पार करना संभव है और ऐसा कई राज्यों में ह
हालांकि हार्दिक की तरफ से पिछले तीन दिन से तारीखें दी जा रही हैं, पहले राजकोट में हार्दिक ने अपना प्रोग्राम कैसिंल किया फिर कल अहमदाबाद में भी कुछ नहीं बोले। कांग्रेस की लिस्ट के बाद पाटीदारों के हंगामे की वजह से हार्दिक को कदम पीछे खींचने पड़े हैं,
कांग्रेस के नेता कपिल सिब्बल ने पाटीदारों को आरक्षण देने के लिए जो फार्मूला दिया है, हार्दिक पटेल उससे संतुष्ट हैं और वो उसी को आधार बनाकर पाटीदार समाज से कांग्रेस को वोट देने की अपील कर रहे हैं। इस बीच भाजपा सवाल खड़े कर रही है। जेटली ने राजस्थान और
सवाल उठता है कि क्या कांग्रेस पाटीदारों को झूठे सब्जबाग दिखा रही है? क्या हार्दिक पटेल आरक्षण के नाम पर कांग्रेस से सौदेबाजी कर रहे हैं और दोनों पाटीदारों को धोखा दे रहे हैं? ये सवाल इसलिए उठ रहा है क्योंकि हार्दिक पटेल बार-बार कांग्रेस को लेकर अपना
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