नई दिल्ली: केंद्र सरकार के नोटबंदी के फैसले का विरोध कर रहे विपक्षी दल सोमवार को एकजुट होकर विरोध प्रदर्शन करने सड़क पर उतर गए हैं। आमतौर पर एक-दूसरे की विरोधी पार्टियां भी आज इस मामले पर साथ हैं। प्रमुख विपक्षी पार्टियों में सिर्फ जनता दल यूनाइटेड JD (U) और तृणमूल कांग्रेस ही 'जन आक्रोश दिवस' के नाम के इस अखिल भारतीय विरोध का हिस्सा नहीं हैं।
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बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार शुरू से ही नोटबंदी के पक्ष में हैं और इस मामले पर उन्होंने कई बार मोदी सरकार के इस फैसले का समर्थन किया है। वहीं ममता बनर्जी वैसे तो नोटबंदी का विरोध कर रही हैं, लेकिन उन्होंने भारत बंद का समर्थन नहीं करने की बात कही है। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (CPM), बहुजन समाज पार्टी (BSP), आम आदमी पार्टी (AAP) और समाजवादी पार्टी (SP) ने ऐलान किया है कि वे इस विरोध में हिस्सा ले रहे हैं। नोटबंदी के खिलाफ समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने इलाहाबाद में प्रदर्शन किया है जबकि CPI (ML) कार्यकर्ताओं ने बिहार के दरभंगा ट्रेन को रोक दिया।
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बीजेपी और नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस के भारत बंद बुलाने पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। हालांकि कांग्रेस ने कहा कि उसने 'भारत बंद' नहीं, बल्कि 'अखिल भारतीय जन आक्रोश दिवस' बुलाया है। मोदी सरकार की आलोचना करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता और पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने कहा कि देश तो नोटबंदी का फैसला लिए जाने के बाद 9 नवंबर से ही बंद है। हालांकि नोटबंदी पर एक समय पूरा विपक्ष साथ था, अब इसमें थोड़ी फूट भी नजर आ रही है।बाकी विपक्षी पार्टियों को भरोसे में लिए बिना ही एकतरफा बंद बुलाने के लिए ममता बनर्जी ने CPM की आलोचना की है।