न्यूयार्क/नयी दिल्ली: ब्राजील की विमान विनिर्माता कंपनी एम्ब्रेयर भारत और तीन दूसरे देशों में भ्रष्टाचार और अधिकारियों को रिश्वत देने के आरोपों के निपटारे के लिए 20.5 करोड़ डॉलर का भुगतान करने के लिए सहमत हो गयी। इनमें कंपनी पर भारतीय वायुसेना को तीन सैन्य विमानों की बिक्री के सिलसिले में एक एजेंट को कथित रूप से 50.76 लाख डॉलर की रिश्वत देने का आरोप शामिल है। भारत में भ्रष्टाचार के आरोप भारतीय वायुसेना के एयरबोर्न अर्ली वार्निंग एंड कंट्रोल सिस्टम :अवाक्स: के लिए तीन विमानों की बिक्री से जुड़े समझौते के लिए भारत में एक एजेंट को 50.76 लाख डॉलर की राशि का कथित भुगतान से संबंधित हैं।
सीबीआई ने मामले में पहले ही एक प्राथमिकी दर्ज कर रखी है। अमेरिकी न्याय विभाग ने कहा कि एम्ब्रेयर आपराधिक आरोपों के निपटारे के लिए समझौता करते हुए 10.7 करोड़ डॉलर से अधिक का जुर्माना देने पर सहमत हुई। यह जुर्माना उन योजनाओं को लेकर दिया जाएगा जिनके तहत डोमिनिक गणराज्य, सउदी अरब और मोजाम्बिक के सरकारी अधिकारियों को रिश्वत दी गयी और एक फर्जी एजेंसी के जरिये भारत में गलत तरीक से दर्ज भुगतान के रूप में और पैसे दिए गए।
एसईसी की शिकायत में आरोप लगाया था कि एम्बे्रयर ने अपनी अमेरिकी सहायक कंपनी द्वारा डोमिनिक गणराज्य, सउदी अरब और मोजाम्बिक के अधिकारियों को एजेंटों के जरिये दी गयी रिश्वत के सहारे 8.3 करोड़ डॉलर से अधिक का लाभ कमाया। समझौते के तहत अमेरिकी न्याय विभाग को 10.7 करोड़ डॉलर का जुर्माना देने के अलावा एम्ब्रेयर को प्रतिभूति एवं विनिमय आयोग :एसईसी: को जुर्माने एवं ब्याज के रूप में 9.8 करोड़ डॉलर से अधिक की राशि देनी होगी।